सीएम योगी ने कहा- ‘लंगर मानवता का प्रतीक’, सिख गुरुओं का बलिदान सनातन धर्म की रक्षा का प्रेरक उदाहरण
गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को पैडलेगंज स्थित ऐतिहासिक गुरुद्वारा में विकास कार्यों का लोकार्पण किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि सनातन धर्म और समाज को अधर्म के खिलाफ खड़ा करने में सिख गुरुओं का योगदान अतुलनीय है। उनके त्याग और बलिदान की गाथा आज भी देश को प्रेरित करती है।
सिख गुरुओं का बलिदान: प्रेरणा का स्रोत
सीएम ने कहा, “सिख गुरुओं का जीवन त्याग और समर्पण की मिसाल है। गुरु अर्जुन देव का बलिदान हो या गुरु गोविंद सिंह के चार साहिबजादों की शहादत, हर प्रसंग बताता है कि सनातन संस्कृति की रक्षा के लिए उन्होंने कभी पीछे नहीं हटे।” उन्होंने कहा कि पूरा देश इन वीर सपूतों को नतमस्तक होकर याद करता है।
लंगर: समानता और भाईचारे का संदेश
योगी ने गुरुद्वारा की लंगर परंपरा की सराहना करते हुए कहा कि यह समानता और भाईचारे का प्रतीक है। “लंगर में न जाति देखी जाती है, न धर्म, न चेहरा। जो भी आता है, प्रेम और श्रद्धा से भोजन ग्रहण करता है। यही भारतीय संस्कृति की असली पहचान है,” उन्होंने कहा।
गुरुद्वारों के विकास के लिए प्रतिबद्धता
मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि गुरुद्वारे समाज सुधार और राष्ट्र निर्माण के केंद्र रहे हैं। राज्य सरकार गुरुद्वारों और तीर्थ स्थलों के विकास के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उन्होंने बताया कि सिख समाज के कई कार्यक्रमों में शामिल न हो पाने का कारण लखनऊ में व्यस्तता होती है, जहां वे वहां के आयोजनों में हिस्सा लेते हैं। सदर सांसद रविकिशन ने भी सिख धर्म के गौरवशाली इतिहास की प्रशंसा की।